Рет қаралды 21,272
कम्प्ट्रोलर एंड ऑडिटरल जनरल यानी कैग जिसकी निष्पक्षता और स्वायत्तता को लेकर बहस चल रही है।रक्षा खरीद से जुड़े रफाल सौदे को लेकर विपक्ष ने सरकार पर कई आरोप लगाएं हैं। सरकार ने विपक्ष के विरोध के बीच रफ़ाल सौदे पर कम्प्ट्रोलर एंड ऑडिटरल जनरल यानी कैग की रिपोर्ट लोकसभा में पेश की। विपक्ष ने हितों के टकराव का आरोप लगाते हुए विपक्ष ने नियंत्रक और महालेखा परीक्षक राजीव महर्षि से अनुरोध किया था कि वह राफेल लड़ाकू विमानों की खरीद के करार की ऑडिट प्रक्रिया से खुद को अलग कर लें, क्योंकि तत्कालीन वित्त सचिव के तौर पर वह राफेल वार्ता का हिस्सा रहे थे। विपक्ष ने यह भी कहा कि राजीव महर्षि द्वारा संसद में राफेल पर रिपोर्ट पेश करना नैतिक रूप से सही नहीं है। संविधान में कैग का ज़िक्र भारतीय संविधान के अनुच्छेद 148 में कैग का ज़िक्र आता है। भारत के नियंत्रक-महालेखा परीक्षक को राष्ट्रीय वित्त का संरक्षक कहा जाता है और ये इंडियन ऑडिट एंड अकाउंट डिपार्टमेंट का हेड होता है। डा. अम्बेडकर ने कैग को भारतीय संविधान का सबसे अहम् प्राधिकार बताया था।
ANCHOR: क़ुरबान अली, पूर्व एडिटर, राज्य सभा टीवी
GUESTS: अजय दुआ, पूर्व वाणिज्य सचिव, भारत सरकार
परंजॉय गुहा ठाकुरता, आर्थिक मामलों के जानकार
REPORT: KESHARI PANDEY
GRAPHICS: IMRAN KHAN