Deepawali | Veer Nirvan Mahotsav
5:31
Пікірлер
@shubhamjain4230
@shubhamjain4230 2 күн бұрын
Great work Bhavya. Please let me know about the source of your information (books, websites etc). I would like to read more about him.
@navinjain9838
@navinjain9838 5 күн бұрын
बहुत ही खूबसूरत 👌👌👌🙏
@deepalijain5916
@deepalijain5916 5 күн бұрын
Bahut sundar
@jhumadatta5496
@jhumadatta5496 6 күн бұрын
❤❤❤
@jhumadatta5496
@jhumadatta5496 6 күн бұрын
Very nice
@sultanthakur5394
@sultanthakur5394 11 күн бұрын
अहिंसा धर्म की तुलना के लिए कोई दूसरा विकल्प नहीं है।यह धर्म नहीं मोक्ष मार्ग मात्र है। अहिंसा परमो धर्म की जय 🙏🙏🙏
@RahulTiwari-zn2qo
@RahulTiwari-zn2qo 26 күн бұрын
शिवपुराण मेने पढ़ा है,, कही भी जैन धर्म या जैन तीर्थंकर का वर्णन कही कही टीके नही है,,,ना विष्णु पुराण में न देवी पुराण में ये बात मेने खुद देखी है,, किसी भी धर्म की भावनाओ को ठेस नहीं पहुंचनि है मुझे बस सत्य बताया है जय सनातन धर्म
@ShreeKrishna-saranam
@ShreeKrishna-saranam 20 күн бұрын
Vagwat puran me hai.
@nehajain3587
@nehajain3587 29 күн бұрын
Hye what is your name please answer my name is Anuva jain
@manishajain5273
@manishajain5273 Ай бұрын
Acher navahan or acher subodhi
@anupamas5395
@anupamas5395 Ай бұрын
😢😢🙏🙏
@PallaviJain-yj9rg
@PallaviJain-yj9rg Ай бұрын
Nice
@manishfd886
@manishfd886 Ай бұрын
fuddu dhram h jain dhram
@gamerwithyt7124
@gamerwithyt7124 Ай бұрын
Shrut Panchami ki shubkamnay. Jai jinendra 4:🙏🙏🙏
@Radnamrok
@Radnamrok Ай бұрын
Hindu logo ki hinsa ne hi jain logo ko India me bacha ke rakha nahi toh jo ahinsa waale pakistani jaino ko Pakistani muslimo me khade khade chod diya aor maaar daala hai. Respect the traditions of every culture or else Karma will serve disrespect to your traditions. For a religion against hate, you sure do spread hatred a lot.
@Dhyan_Shah
@Dhyan_Shah 2 ай бұрын
who is prahlad according to jainism ?
@sukhanandjain1610
@sukhanandjain1610 2 ай бұрын
मनीष तिवारी जी यदि जैन धर्म वैदिक धर्म से निकला है तो जैनियों के मंदिरों और मूर्तियों पर अनधिकृत रूप से कव्जा कर उनका स्वरूप बदलने की क्या आवश्यकता थी ।दूसरे धर्म और भगवान का संबंध किसी जाति या हिन्दू मुस्लिम सिख ईसाई बौद्ध जैन और पारसी जैसे नामों से नहीं होता और न ही ये सनातन शब्द हैं ।धर्म तो आत्मा के विशुद्ध परिणामों का नाम ।अपनी आत्मा से विकारी भावों को निकाल देने का नाम धर्म है ।
@abhinandanjain2399
@abhinandanjain2399 2 ай бұрын
Kanji swami urf mithya drishti.
@jayshreeshah7735
@jayshreeshah7735 2 ай бұрын
Suparb .. KAHAN GURU NO JAYHO ...JAYSHREE SHAH
@alkajain9155
@alkajain9155 2 ай бұрын
You are doing a great job. Please dont stop.keep doing the great work.
@PCJain-ov4fw
@PCJain-ov4fw 2 ай бұрын
परमोपकारी युग पुरुष पूज्य गुरुदेव श्री कानजी स्वामी को कोटि कोटि वंदन।
@राकेशार्य्य
@राकेशार्य्य 3 ай бұрын
ओ३म्❤❤❤
@vikalpjain9046
@vikalpjain9046 3 ай бұрын
Karm ki vichitra baat anagsara ka dushman unka pati hua
@reyaanshbothradpsm-std2903
@reyaanshbothradpsm-std2903 3 ай бұрын
T-T
@yennk3603
@yennk3603 3 ай бұрын
☝️कार, AC, रसोईया, नौकर-चाकर, अंग्रेजी दवाइयां, अस्पताल..कुछ का भी त्याग नहीं किया था श्री कानजी भाई ने। ..आ..हा..हा..परम आनंद ज्ञान स्वरूपी भगवान आत्मा ...तू तो भूला हुआ भगवान आत्मा है, स्वयं भगवान है.. शुद्ध द्रव्य है, पर से भिन्न है आत्मा .. अनंतकाल से बाह्य दिगंबर स्वरुप धारण कर तुझे क्या मिला..अब तो चेत। .. आदि -आदि बोलकर, वे चेलों को मोक्ष के हवा-हवाई सपन बाग दिखाकर, अपनी शाही सुख-सुविधा पूर्ण चर्या को स्वीकार्यता प्रदान करवाने के लिये वे, जो भी तात्कालीन दिगंबर आचार्य- उपाध्याय- साधु परमेष्ठि थे, उनके बाह्य संयम स्वरूप के बारे में नई- नई परिभाषाएं गढ़कर, उनके प्रति लोगों के मन में अरुचि/ द्वेष पैदा करने में, भ्रमित करने में, वे अति सफल रहे।.. पर कैसी बिडंबना है कि ज्ञानस्वभावी आत्मा पर से भिन्न है, आत्मा परम आनंद स्रोत है.. कहने वाले कानजी भाई इसी अचेतन-पर का इलाज कराने अस्पताल चले गये और वहीं से देह त्याग कर दिये। फिर भी उनके चेले बेशर्मी से इसे समाधि बताकर छल करते हैं। *** सेठियों को लगता रहा कि सोनगढ़िये बनकर उन्हें, बिना दिगंबर साधु बने, मोक्ष का शार्ट कट मिल गया है‌। शुद्धआत्मा..आ..हा..हा.. आनंद स्वरूपी आत्मा का नाम लेकर मोक्ष में सीट बुक हो गई है। ऐसा झांसा देकर, मुमुक्षु पंडित नोट छापने में लगे हैं। आजतक कोई भी मुमुक्षु किताबी जमा खर्च से आगे बढ़ा हो तो अवश्य विचार करना। ..गजब धूर्तता है।.. दिगंबर जैन समाज में सबसे बड़ा विभाजन करने में कानजी भाई सफल रहे।🧐
@aviraljain6990
@aviraljain6990 3 ай бұрын
JAHOJAHO❤🎉😮😢
@jainanusthan7997
@jainanusthan7997 3 ай бұрын
हॉस्पिटल में मरा था
@PCJain-ov4fw
@PCJain-ov4fw 2 ай бұрын
आपकी भाषा से ही समझ आता है आपके गुरू किस स्तर के होंगे।ज्ञान धन को लूटने वाले जिनकी भाषा समिति का ही ठिकाना न हो ऐसे ढोंगी बाबाओं से बचो। सत्य बात को समझ कर आत्म हित में लगो। जय जिनेंद्र
@jainanusthan7997
@jainanusthan7997 3 ай бұрын
बेटा कभी मुनियों के वीडियो बनाओ ये मन से बनाई फालतू बाते मत बनाओ इस व्यक्ति ने ही मुनियों की निंदा की
@yennk3603
@yennk3603 3 ай бұрын
☝️कार, AC, रसोईया, नौकर-चाकर, अंग्रेजी दवाइयां, अस्पताल..कुछ का भी त्याग नहीं किया था श्री कानजी भाई ने। ..आ..हा..हा..परम आनंद ज्ञान स्वरूपी भगवान आत्मा ...तू तो भूला हुआ भगवान आत्मा है, स्वयं भगवान है.. शुद्ध द्रव्य है, पर से भिन्न है आत्मा .. अनंतकाल से बाह्य दिगंबर स्वरुप धारण कर तुझे क्या मिला..अब तो चेत। .. आदि -आदि बोलकर, वे चेलों को मोक्ष के हवा-हवाई सपन बाग दिखाकर, अपनी शाही सुख-सुविधा पूर्ण चर्या को स्वीकार्यता प्रदान करवाने के लिये वे, जो भी तात्कालीन दिगंबर आचार्य- उपाध्याय- साधु परमेष्ठि थे, उनके बाह्य संयम स्वरूप के बारे में नई- नई परिभाषाएं गढ़कर, उनके प्रति लोगों के मन में अरुचि/ द्वेष पैदा करने में, भ्रमित करने में, वे अति सफल रहे।.. पर कैसी बिडंबना है कि ज्ञानस्वभावी आत्मा पर से भिन्न है, आत्मा परम आनंद स्रोत है.. कहने वाले कानजी भाई इसी अचेतन-पर का इलाज कराने अस्पताल चले गये और वहीं से देह त्याग कर दिये। फिर भी उनके चेले बेशर्मी से इसे समाधि बताकर छल करते हैं। *** सेठियों को लगता रहा कि सोनगढ़िये बनकर उन्हें, बिना दिगंबर साधु बने, मोक्ष का शार्ट कट मिल गया है‌। शुद्धआत्मा..आ..हा..हा.. आनंद स्वरूपी आत्मा का नाम लेकर मोक्ष में सीट बुक हो गई है। ऐसा झांसा देकर, मुमुक्षु पंडित नोट छापने में लगे हैं। आजतक कोई भी मुमुक्षु किताबी जमा खर्च से आगे बढ़ा हो तो अवश्य विचार करना। ..गजब धूर्तता है।.. दिगंबर जैन समाज में सबसे बड़ा विभाजन करने में कानजी भाई सफल रहे।🧐
@PCJain-ov4fw
@PCJain-ov4fw 2 ай бұрын
*श्रद्धा का लुटेरा ही सबसे बड़ा लुटेरा है।* *चतुर लुटेरा यह अच्छी तरह जानता है कि श्रद्धा को लूटे बिना किसी को पूरा नहीं लूटा जा सकता । श्रद्धा लूटने के लिए बहुत-कुछ करना होता है । अज्ञानी होते हुए भी ज्ञान का, अत्यागी होते हुए भी त्याग का, सब-कुछ रख कर भी कुछ न रखने का, सब-कुछ करते हुए भी कुछ न करने का प्रदर्शन करना पड़ता है ; क्योंकि इनके बिना किसी की भी श्रद्धा को लूटना संभव नहीं है । धर्म के नाम पर ढोंग के प्रचलन का मूल केन्द्र-बिन्दु यही है ।*
@deepikajain9837
@deepikajain9837 3 ай бұрын
Jai mahavir😊
@ninashah7129
@ninashah7129 3 ай бұрын
Shri Kahan Gurudev no Jai Ho Jai Ho 🙏🙏🙏
@user-gl8fk8jd7u
@user-gl8fk8jd7u 3 ай бұрын
RiyaJain❤🎉❤❤❤❤
@sukhanandjain5870
@sukhanandjain5870 4 ай бұрын
सत सत बंदन ऐसे महान अशिव्रतधाराव्रत के धारक विजय सेठ और विजया रानी सेठानी को
@shantilaldodhia9296
@shantilaldodhia9296 4 ай бұрын
🙏JaiJinendra 🙏Aabhar 🙏 Apka khub khub Dhanyavad 🙏👌👌👍
@jaindharmkibaate
@jaindharmkibaate 4 ай бұрын
Very nice vidio🎉
@vj5501
@vj5501 5 ай бұрын
Itna padhna likhna ka baad bhi santhara nahi liya ..apni mritya ko bhi nahi bata paye ... Guruji kuch toh reh gaya
@jainsanjeevpndhighschool2570
@jainsanjeevpndhighschool2570 3 ай бұрын
कोई अणुव्रत..?? कोई महा व्रत...??
@yennk3603
@yennk3603 3 ай бұрын
☝️कार, AC, रसोईया, नौकर-चाकर, अंग्रेजी दवाइयां, अस्पताल..कुछ का भी त्याग नहीं किया था श्री कानजी भाई ने। ..आ..हा..हा..परम आनंद ज्ञान स्वरूपी भगवान आत्मा ...तू तो भूला हुआ भगवान आत्मा है, स्वयं भगवान है.. शुद्ध द्रव्य है, पर से भिन्न है आत्मा .. अनंतकाल से बाह्य दिगंबर स्वरुप धारण कर तुझे क्या मिला..अब तो चेत। .. आदि -आदि बोलकर, वे चेलों को मोक्ष के हवा-हवाई सपन बाग दिखाकर, अपनी शाही सुख-सुविधा पूर्ण चर्या को स्वीकार्यता प्रदान करवाने के लिये वे, जो भी तात्कालीन दिगंबर आचार्य- उपाध्याय- साधु परमेष्ठि थे, उनके बाह्य संयम स्वरूप के बारे में नई- नई परिभाषाएं गढ़कर, उनके प्रति लोगों के मन में अरुचि/ द्वेष पैदा करने में, भ्रमित करने में, वे अति सफल रहे।.. पर कैसी बिडंबना है कि ज्ञानस्वभावी आत्मा पर से भिन्न है, आत्मा परम आनंद स्रोत है.. कहने वाले कानजी भाई इसी अचेतन-पर का इलाज कराने अस्पताल चले गये और वहीं से देह त्याग कर दिये। फिर भी उनके चेले बेशर्मी से इसे समाधि बताकर छल करते हैं। *** सेठियों को लगता रहा कि सोनगढ़िये बनकर उन्हें, बिना दिगंबर साधु बने, मोक्ष का शार्ट कट मिल गया है‌। शुद्धआत्मा..आ..हा..हा.. आनंद स्वरूपी आत्मा का नाम लेकर मोक्ष में सीट बुक हो गई है। ऐसा झांसा देकर, मुमुक्षु पंडित नोट छापने में लगे हैं। आजतक कोई भी मुमुक्षु किताबी जमा खर्च से आगे बढ़ा हो तो अवश्य विचार करना। ..गजब धूर्तता है।.. दिगंबर जैन समाज में सबसे बड़ा विभाजन करने में कानजी भाई सफल रहे।🧐
@SumitSharma-xs5ke
@SumitSharma-xs5ke 5 ай бұрын
Ved aur puran sanataniyo ka dharm granth hai Ved me jo naam hai usi se naam churaya gaya hai Mahavir ne jain dharm ka uday kiya
@sidrakhan513
@sidrakhan513 5 ай бұрын
granth ksi dharm ka nhi hota,,uss granth ke followers ko hi log alag dharm smjhney lgtey hai Ved me toh ishwar ke sandesh thhey jo uss time ishwar ne logo ko follow krne ke liye diye thhey
@devraj7351
@devraj7351 5 ай бұрын
Bekar ki baate bata rahe ho
@Sudhasagarshorts
@Sudhasagarshorts 5 ай бұрын
मेरा दिगंबर बंधुओं से निवेदन है, ये काल दुखमा है, दुख तकलीफ परेशानियां होंगी ही, 😔 मिथ्यात्व तुम्हे अपनी ओर आकर्षित करेगा ही, 🌐 लेकिन तुम अपने अनादिकालीन मार्ग से च्युत मत होना, 🚶‍♂️ ऐसे कई कांजी आएंगे, सब अपने अपने हिसाब से श्रुत की परिभाषाएं बदलेंगे, 📖 लेकिन तुम अडिग रहना, 🤲 तुम वो हो जिसे करोड़ों करोड़ों साल पहले मारीच द्वारा चलाए गए 363 मत प्रभावित नही कर पाए, 📆 तुम वो हो जो जिन धर्म का अभाव होने पर भी अपने मार्ग पर अडिग रहे, 🌍 तुम वो हो जिसे वेद पुराण वाले पंडित नहीं भटका पाए, 📚 तुम वो हो जो बुद्ध के प्रभाव से प्रभावित नहीं हुआ तुम वो हो जो चंद्रगुप्त के समय पड़े अकाल के कारण भी परिवर्तित नहीं हुए, 🔄 तुम वो हो जिसने विदेशी आक्रमण कारी के समय भी खुदको अडिग रखा तुम वो हो जो जिसे मुगल और अंग्रेज भी मार्ग से नही भटका पाए, 🏹 तुम वो भी हो जो 50 साल पहले आए कहान की कहानी में नहीं उलझे, और इस कई कहान अपनी अपनी कहानी लेकर आएंगे, 📜 महावीर स्वामी की वाणी है, पंथ बनेंगे बनते रहेंगे, 🕉️ लेकिन तुम अपने समयक्त्व पर अडिग रहना। 🌟 मोक्षमार्ग आसान नहीं है, चरित्र अंगीकार करना आसान नहीं है, 🤲 मुनियों की निंदा से संबंधित कई प्रसंग तुम्हारे सामने आएंगे, 🗣️ लेकिन तुम इस कारण से पंथ मत बदल लेना, सम्यकदर्शन के 8 अंगों का चिंतन करना जिसमे से एक स्थितिकरण अंग है, 🔄 इसको तुम अपना कर्तव्य समझ लेना, 🤔 तुम ये भी समझना की द्रव्य क्षेत्र काल भाव की अपेक्षा से चरित्र में प्रभाव पड़ते हैं, 🔄 प्रमाद वस व्रतों में अतिचार लगते हैं, 🙏 अगर मुनि बनने के बाद चरित्र में कोई दोष लगते ही नहीं तो फिर, 6th गुणस्थान के बाद का जीव कभी नीचे गिरता ही नहीं, 🚫 अतिचार और अतिचारो के प्रश्चित का कोई विधान ही नहीं होता, 📜 मुनि की चर्या में प्रतिक्रमण जैसा कोई शब्द ही नहीं होता, 📖 ये कह देना की मुनि बनना इतना महान है कि मुनि बना ही नहीं जा सकता, इससे बड़ी कोई मूर्खता नहीं होगी, 🤨 और ये सोचना कि मुनि वही बने जो मोक्ष पहुंचने तक कभी मार्ग से न भटके तभी बने अथवा न बने ये उससे भी बड़ी मूर्खता की बात है, 🔄 गिरने के डर से कदम आगे बढ़ाया ही न जाए, ❌ ये न किसी सांसारिक सफलता के लिए उचित है, और न ही वीतरागिता के मार्ग के लिए। 🚫 मोक्ष मार्ग के लिए किसी वस्त्रधारी को सच्चा गुरु कहना ही अपने आप में तुम्हें सम्यकदर्शन से दूर ले जाता है, 🧘 फिर उनका अनुसरण या अनुकरण करना तो क्या ही होगा। 🔄 जिस व्यक्ति को तुम लोग गुरु बोल रहे हो, उस व्यक्ति ने दिगंबरत्व के स्कूल में सिर्फ पहली कक्षा में एडमिशन लिया था, 🎓 और उसकी भी वह ABCD अच्छे से नहीं सीख पाया। 📚 ठीक उसी प्रकार जैसे VEGAN लोग खुदको शाकाहारी से श्रेष्ठ बताते कहते हैं, हम तो शाकाहारी से भी ज्यादा शाकाहारी हैं, 🥦 अब दूध को मांस और बेसन और सोयाबीन की हड्डी बनाकर वेगन कबाब बनाने वालो को पानी छानना, 🍢 आटे नमक की मर्यादा, 22 अभक्ष सत असत का भेद कौन बताए। 🚫 बेसई ये कंजाइष्ट हैं जो खुदको दिगंबरो से ज्यादा मुनिभक्त बताते हैं, 🙏 अब इन बगुलभक्तों को कौन समझाए मुनिव्रत। 🤷‍♂️
@kanikajain8255
@kanikajain8255 6 ай бұрын
Nice story
@Ranvijay07
@Ranvijay07 6 ай бұрын
Jain hindu dharam ka hi part h kyu ki hindu dharam se hi nikla h
@nileshbarotofficial45
@nileshbarotofficial45 6 ай бұрын
Shastri ji palitana se jain sangitkar nileshbhai hu
@nileshbarotofficial45
@nileshbarotofficial45 6 ай бұрын
Jay jinshashn
@tilakjain5506
@tilakjain5506 6 ай бұрын
🙏🙏🙏🙏
@ethikajain1987
@ethikajain1987 6 ай бұрын
😔😔😢😢😢😭😭
@JainShorts.
@JainShorts. 6 ай бұрын
कांजी का सुपड़ा साफ 🫣➪ kzfaq.info/get/bejne/nKl4fLGInsnSn3k.html&si=dCtiPnrgMHiWtO1b सत्य सुनने की हिम्मत है ?(must watch)🙏🏻
@yashasvijain6995
@yashasvijain6995 6 ай бұрын
Don't come back again 2023,🥺 we always miss you pandit ji 🙏🙏😔😔
@Free_testing
@Free_testing 7 ай бұрын
hinduism > jainism 🍵 JAI SHREE RAM ❤
@palkeshjain4615
@palkeshjain4615 7 ай бұрын
Kanji swami pahale swetamber the fir Digamber hi gaye or Digamber pratima to banate Hai par Digamber Santo ko nahi mante kya bat hai
@Shraman.jain123
@Shraman.jain123 2 ай бұрын
Wo aaye hi the digamber parampara ko khatm karne ke liye wo to maahan upkaar hai charitra chakravarti shanti sagar ji maha muni raaj ka jinhone digamber parampara ko jeevant rakha
@user-pv1di3ft7o
@user-pv1di3ft7o 8 ай бұрын
🥺🥺🥺
@ArihantJain-ww6gd
@ArihantJain-ww6gd 8 ай бұрын
❤😮😊very good
@shabnamjain8870
@shabnamjain8870 8 ай бұрын
👏👏👏👏