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सुक्षेत्र (त्रिशाला)भवन निर्माण एवं उसके लाभ/प्रभाव।@upendravasturesolve5368
सिर्फ एक दिशा में निर्माण-एकशाल भवन,
दो दिशा में निर्माण-द्विशाला भवन,
तीन दिशाओं में निर्माण-त्रिशाला भवन,
एवं चारों दिशाओं में निर्माण रहने पर उसे,
चतुःशाला भवन कहते हैं।
अलग अलग दिशाओं में निर्माण कार्य के अलग अलग प्रभाव मिलते हैं।
आज त्रिशाला भवन के द्वितीय भाग --सुक्षेत्र भवन
के बारे में जानें!
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